‘ऑपरेशन सिंदूर’ पर बहस के दूसरे दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कांग्रेस पर तीखा हमला किया, उस पर स्वार्थ की राजनीति करने का आरोप लगाया.
प्रधानमंत्री ने शाम क़रीब साढ़े छह बजे जब भाषण शुरू किया तो कहा, “जिन्हें भारत का पक्ष नहीं दिखता है उन्हें मैं आईना दिखाने के लिए खड़ा हुआ हूं.”
अपने जवाब में पीएम मोदी ने कहा कि संसद का ये सत्र भारत के विजय उत्सव का सत्र है. ये भारत के गौरवगान का भी सत्र है.
इसके बाद उन्होंने कहा, “दुनिया में किसी भी देश ने भारत को अपनी सुरक्षा में कार्रवाई करने से रोका नहीं है.”
“क्वाड हो, ब्रिक्स, फ़्रांस, रूस, जर्मनी समेत तमाम देशों की ओर से भारत को समर्थन मिला है. लेकिन मेरे देश के वीरों के पराक्रम को कांग्रेस का समर्थन नहीं मिला.”
पीएम मोदी ने कहा, “तीन चार दिन बाद ही कांग्रेस कहने लगी, ‘कहां गई छप्पन इंच की छाती, कहां खो गया मोदी, मोदी तो फेल हो गया.’ वे मजा ले रहे थे. पहलगाम में लोगों की हत्या में भी वे अपनी स्वार्थी राजनीति तलाश रहे थे और मुझ पर निशाना साध रहे थे.”
इसके बाद विपक्षी बेंचों की ओर से हंगामा शुरू हो गया. लोकसभा अध्यक्ष को पीएम मोदी के भाषण के बीच विपक्षी दलों को नसीहत देनी पड़ी.
प्रधानमंत्री ने कहा “22 अप्रैल का बदला 22 मिनट में निर्धारित लक्ष्य के साथ हमारी सेना ने ले लिया.”
उन्होंने कहा, “पहली बार ऐसा हुआ कि भारत की ओर ऐसी रणनीति बनी कि जहां हम पहले कभी नहीं गए, हम पहुंचे. पाकिस्तान के कोने-कोने में आतंकी अड्डों को धुआं-धुआं कर दिया. बहावलपुर, मुरीदके को भी ज़मींदोज़ कर दिया.”
ऑपरेशन सिंदूर के दौरान पहली बार हुआ, जब आत्मनिर्भर भारत की ताकत को दुनिया ने पहचाना. मेड इन इंडिया ड्रोन, मिसाइल ने पाकिस्तान के हथियारों की पोल खोलकर रख दी. आतंकी घटना पहले भी देश में होती थी, लेकिन पहले आतंकवादियों के मास्टरमांइड निश्चिंत रहते थे, क्योंकि उन्हें पता था कि कुछ नहीं होगा. अब स्थिति बदल गई है, हमले के बाद मास्टरमांइड को नींद नहीं आती, क्योंकि उनको पता है कि भारत आएगा और मारकर जाएगा.
सीडीएस की नियुक्ति का हवाला देते हुए उन्होंने कहा, “नेवी, आर्मी, एयरफ़ोर्स- तीनों सेनाओं का तालमेल, इसने पाकिस्तान के छक्के छुड़ा दिए.”
पीएम मोदी ने कहा, “सिंदूर से लेकर सिंधु तक भारत ने कार्रवाई की है. आतंकी आका समझ गए हैं कि इसकी भारी क़ीमत चुकानी पड़ेगी.”